Haryana News: हरियाणा सरकार ने अब ग्रुप-डी भर्ती प्रक्रिया को पूरी तरह पारदर्शी बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठाया है। हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग ने फैसला किया है कि विज्ञापन संख्या 01/2023 के तहत चयनित सभी ग्रुप-डी (कॉमन कैडर) उम्मीदवारों का बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन किया जाएगा। यह कदम भर्ती प्रक्रिया में फर्जीवाड़े या किसी भी तरह के विवाद को रोकने के लिए उठाया गया है।
आयोग का यह फैसला साफ संकेत देता है कि राज्य सरकार अब भर्ती प्रक्रिया में ‘एक व्यक्ति, एक पहचान’ की नीति को सख्ती से लागू करने जा रही है। बायोमेट्रिक सत्यापन से यह सुनिश्चित होगा कि किसी उम्मीदवार की जगह कोई दूसरा व्यक्ति गलत तरीके से चयन या नियुक्ति न पा सके। इस संबंध में मानव संसाधन विभाग ने सभी विभागाध्यक्षों, मंडल आयुक्तों और उपायुक्त पंचकूला को पत्र जारी किया है।
जल्द शुरू होगी वेरिफिकेशन प्रक्रिया
पत्र के अनुसार जिन कार्यालयों में ग्रुप-डी उम्मीदवार कार्यरत हैं, उनके नाम, पद और कार्यस्थल की जानकारी तुरंत आयोग को भेजनी होगी ताकि बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन की प्रक्रिया शीघ्र शुरू की जा सके। इससे भर्ती प्रक्रिया का अंतिम चरण भी पूर्ण रूप से पारदर्शी और सुरक्षित रहेगा।
पहले ही जारी हो चुके हैं नियुक्ति पत्र
चयनित उम्मीदवारों को पहले ही संबंधित मंडल आयुक्तों और उपायुक्त कार्यालयों में ज्वाइनिंग के निर्देशों के साथ नियुक्ति पत्र दिए जा चुके हैं। इसके बाद उनके पोस्टिंग ऑर्डर एचकेसीएल पोर्टल पर जारी किए गए थे। अब बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन इस प्रक्रिया की अंतिम कड़ी होगी जिससे किसी भी स्तर पर गड़बड़ी की गुंजाइश न रहे।
डिजिटल रिकॉर्ड में सुरक्षित रहेगी पहचान
आयोग चेयरमैन हिम्मत सिंह के अनुसार यह कदम न केवल मौजूदा ग्रुप-डी भर्ती को पारदर्शी बनाएगा बल्कि भविष्य की भर्तियों के लिए भी एक नया मानक तय करेगा। बायोमेट्रिक सत्यापन के बाद उम्मीदवारों की पहचान डिजिटल रिकॉर्ड में सुरक्षित रहेगी। इससे आने वाले समय में शिकायतों, मुकदमेबाजी या फर्जी दस्तावेजों के उपयोग की कोई संभावना नहीं बचेगी।

















