Haryana: स्वतंत्रता सेनानियों व आश्रितों की बल्ले बल्ले, अब पैशन मिलेगी इतनी पेंशन

CM HARYANA NAYAB SAINI

Haryana News:हरियाणा (Haryana) सरकार ने स्वतंत्रता सेनानियों, आपातकाल सत्याग्रहियों और हिन्दी आंदोलन-1957 के मातृभाषा सत्याग्रहियों को बड़ा तोहफा दिया है। सरकार ने उनके मासिक पेंशन को 20 हजार रूप्ए बढ़ा दिया है।

बता दे कि Haryana  सरकार के अनुसार जुलाई 2024 से अधिकतम पेंशन लागू होगा। मुख्यमंत्री नायब सैनी ने संविधान की मर्यादा को बचाने और लोकतंत्र को पुनःस्थापित करने के लिए आपातकाल के दौरान संघर्ष करने वाले सत्याग्रहियों का सम्मान दिया है।

CM Haryana Nayab Saini  ने कहा कि आपातकाल में हुए जुल्म और ज्यादतियों को अभी तक भूला नहीं जा सकता। मंगलवार को हरियाणा के सीएम नायब सैनी ने स्वतंत्रता सेनानियों और उनके परिजनों के लिए बड़ा ऐलान किया है।

हरियाणा के सीएम ने अपने आधिकारिक एक्स हैंडल पर एक वीडियो पोस्ट करते हुए कहा कि, “स्वतंत्रता सेनानियों, जिन्होंने देश के लिए अपने प्राणों की आहुति दी और बहुत कष्ट सहे, स्वतंत्रता सेनानियों और उनके आश्रितों की पेंशन 1 जुलाई से 25,000 रुपये से बढ़ाकर 40,000 रुपये की जाएगी।”

दरअसल, सीएम सैनी ने इनके लिए नई पेंशन राशि की घोषणा की है। सीएम नयाब सैनी ने कहा कि 1 जुलाई से स्वतंत्रता सेनानियों को 40,000 रुपये की बढ़ी हुई पेंशन मिलेगी।

CM NAYAB SAINI

हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सैनी का कहना था कि इन लोकतंत्र सेनानियों के सम्मान में हरियाणा सरकार ने कई कार्यक्रम शुरू किए हैं। दिसंबर 2017 से हरियाणा राज्य शुभ्र ज्योत्सना पेंशन योजना शुरू की गई। इसके तहत 501 लोकतंत्र सेनानियों और उनकी विधवाओं को मासिक पेंशन दी जाती है

उन्होंने कहा कि “आपातकाल के दौरान सेनानियों, जिन्होंने संविधान की रक्षा की, जो इस देश के लोकतंत्र की रक्षा के लिए जेल गए, हमारी सरकार ने उन्हें 10,000 रुपये की पेंशन शुरू की और आज, मैं घोषणा करता हूं कि अब पेंशन 1 जुलाई से 20,000 रुपये होगी।”

मुख्यमंत्री ने हिन्दी आंदोलन-1957 के मातृभाषा सत्याग्रहियों की मासिक पेंशन को भी 20,000 रुपये कर दिया। मुख्यमंत्री ने कहा कि स्वतंत्रता सेनानियों और उनके आश्रितों का सम्मान पेंशन भी 25,000 रुपये से 40,000 रुपये कर दिया गया है। प्रदेश में 289 स्वतंत्रता सेनानियों और उनके आश्रितों को मासिक पेंशन मिल रही है।

आपातकाल को बताया काला अध्याय

हरियाणा के सीएम ने आगे कहा कि, “हिंदी भाषा को बचाने के लिए संघर्ष करने वाले लोगों (हिंदी आंदोलनकारियों) को भी 1 जुलाई से पेंशन के रूप में 20,000 रुपये मिलेंगे।” उन्होंने आपातकाल के 49 साल पूरे होने को लेकर कहा, “आपातकाल देश के लिए एक काला अध्याय था।

आपातकाल लगाकर लोकतंत्र का गला घोटा
पूर्व पीएम इंदिरा गांधी ने 25 जून, 1975 को देश में आपातकाल लगाकर लोकतंत्र का गला घोंटने की कोशिश की थी। विपक्ष के सभी बड़े नेताओं को जेल में डाल दिया गया। अटल बिहारी वाजपेयी, जय प्रकाश नारायण, मोरार जी देसाई, लाल कृष्ण आडवाणी, चंद्रशेखर, बीजू पटनायक, चौधरी चरण सिंह, चौधरी देवी लाल, डॉ. मंगल सेन, सरदार प्रकाश सिंह बादल जैसे विपक्षी नेताओं को जेल में डाल दिया गया।”