School Bus Accident: हरियाणा के सामाजिक न्याय, अधिकारिता, अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति पिछड़ा वर्ग कल्याण मंत्री बिशंबर वाल्मीकि ने हरियाणा के जिला महेंद्रगढ़ के कस्बा कनीना में हुई बस दुर्घटना पर शोक जताया। उनका धारूहेड़ा के कसबा कापडीवास में रेवाडी के पूर्व विधायक रणधीर सिंह कापडीवास ने स्वागत किया गया।
स्कूलो के साथ होगी कार्रवाई
यदि कोई स्कूल निर्देशों का पालन करने में विफल रहता है तो जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त और अनुकरणीय कार्रवाई की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित करना हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है कि स्कूली बच्चों को उच्चतम मानक की सुरक्षित परिवहन सुविधाएं मिले।
बस दुर्घटना जताया शोक
कहा कि यह घटना बहुत ही दुखद है। मंत्री बिशंबर वाल्मीकि शनिवार को क्षेत्र के गांव नठेडा में भाजपा नेता वीर कुमार यादव के निवास पर पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। लापरवाही करने वाले स्कूलो को नहीं बख्शा जाएगा।
वाल्मीकि ने कहा कि बच्चों के लिए सुरक्षित परिवहन सुनिश्चित करने के लिए स्कूलों द्वारा अनफिट बसों को तुरंत नई बसों से बदलकर प्रशिक्षित ड्राइवरों को नियुक्त किया जाए। जब स्कूल संचालक अभिभावको से बस की फीस चार्ज ले रहे है तो सुविधा देना भी उनकी जिम्मेवारी है।
तेज गति के चलते हुआ था हादसा School Bus Accident
कनीना स्थित जीएल पब्लिक स्कूल की बस गांव सेहलंग से खेड़ी-तलवाना, झाड़ली, खरकड़ा बास, धनौंदा आदि गांवों से बच्चों को बैठाकर कनीना स्थित जीएल स्कूल ले जाती थी। वीरवार को चालक 32 वर्षीय धर्मेंद्र गांव झाड़ली, खरकड़ा बास, धनौंदा से बच्चों को बस में बैठाकर उन्हाणी स्थित नहरी पुलिया व हैफेड के गोदाम के नजदीक पहुंचा।
यहां हल्के मोड़ पर चालक ने गति कम न करते हुए ही बस मोड़ने का प्रयास किया। इसके बाद नियंत्रण खो बैठा और गलत दिशा में पेड़ से टकराने के बाद बस पलट गई। हादसे के दौरान हर ओर छोटे बच्चों की चीख-पुकार मच गई।
आसपास खेतों में काम कर रहे किसान व सड़क पर आवागमन कर रहे वाहन चालक भी मौके पर पहुंच गए और बच्चों को बचाने में जुट गए।
यहां भी हुआ था हादसा
हादसे से पूर्व बस चालक ने गांव खेड़ी में एक बाइक को साइड से टक्कर मार दी थी, जिसके बाद खेड़ी निवासी युवक तूड़ी पर गिर गया था। उसने बस स्टैंड पर बस रुकवाकर चालक से चाबी छीन ली थी। चालक के मुंह से शराब की बदबू आने के बाद युवक ने इसकी शिकायत स्कूल प्रबंधन से कर दी थी, लेकिन कुछ ग्रामीणों के बच्चे भी बस में सवार थे, जिनके अनुरोध पर चाबी वापस दे दी। इसके बाद उन्हाणी मोड़ पर यह हादसा हो गया। अगर उसी समय प्रबधन जाग जाता तो यह हादसा नहीं होता।