रेवाड़ी। अधिकारियों की लापरवाही से एक बार फिर बिजली निगम विभाग की किरकरी हो गई। जिला उपभोक्ता आयोग ने ट्यूबवेल के लिए बिजली का कनेक्शन देने में विलंब करने पर बिजली निगम पर एक लाख रुपये का जुर्माना लगाया है।
गांव फतेहपुरी पीपा निवासी सुभाष ने अपने ट्यूबवेल कनेक्शन के लिए 2019 में धारूहेड़ा स्थित बिजली वितरण निगम में आवेदन किया था। जिला उपभोक्ता अदालत ने अपने फैसले में स्पष्ट किया कि किसान के लिए पानी की एक-एक बूंद उसके एक-एक खून की बूंद के बराबर है। इसलिए तीन साल तक ट्यूबवेल के लिए बिजली का कनेक्शन ना दिया जाना लापरवाही है।रेवाडी में यूनिक कोड से रोकेगे अपराध, जानिए कैसे ?
इस पर शिकायतकर्ता ने कई बड़े अधिकारियों से शिकायत की, लेकिन जब कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसके बाद शिकायतकर्ता ने 9 जनवरी 2023 को जिला उपभोक्ता अदालत में याचिका दर्ज कर दी। इस मामले की सुनवाई करते हुए जिला उपभोक्ता अदालत के अध्यक्ष संजय खंडूजा ने दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम को तलब किया तो निगम ने अपने नियमों का हवाला देते हुए बताया कि एस्टीमेट जो पहले बनाया गया था वह कम राशि का था, इसलिए उसे पुन: बढ़ाकर 4 लाख 34,130 रुपये कर दिया गया और यही राशि अब उपभोक्ता को अदा करनी होगी।CM Flying का अधिकारी व कर्मचारियों में कोई भय नही, सिर्फ कागजों पर सिमटी कार्रवाई !
तीन साल से कनेक्श्न से नही
इस बात को लेकर विभाग ने पूरे तीन साल का समय लगा दिया और उपभोक्ता को कनेक्शन जारी नहीं किया। जिला उपभोक्ता अदालत के अध्यक्ष ने अपने निर्णय में स्पष्ट किया कि विभाग ने घोर लापरवाही की है। किसान को तीन साल तक ट्यूबवेल कनेक्शन पैसा भरने के बावजूद न दिया जाना घोर लापरवाही है।
विभाग ने बिजली का कनेक्शन देने के लिए एस्टीमेट 206021 रुपये का बनाया था, लेकिन एस्टीमेट की राशि अदा करने के बाद भी विभाग ने केवल 10 पोल लगाकर अपने काम की इति श्री कर दी और कनेक्शन नहीं दिया।
जुर्माना लगाया तो विभाग की उडी नींद
जिला उपभोक्ता आयोग ने 1 लाख रुपये जुर्माना सहित 11 हजार वाद खर्च शिकायतकर्ता को देने का आदेश दिया है। यह राशि 9 प्रतिशत ब्याज सहित दी जानी होगी। यदि जुर्माना राशि समय पर नहीं दी गई तो 12 प्रतिशत ब्याज सहित राशि अदा करनी होगी
भ्रष्टाचार की खुली पोल: निगम किसानो की सुनवाई नही कर रहा है। सरेआम भ्रष्टाचार किया जा रहा है। जो का तीन महीने का था उसे तीन साल में पूरा नही किया।