Pandit Pradeep Mishra : कथा वाचक पंडित प्रदीप मिश्रा Pandit Pradeep Mishra ने बताया कि शिव पुराण कहता है कि व्यर्थ का खर्च और चर्चा दोनों जीवन को बरबाद करती है। श्रद्धालुओं की भीड़ इतनी थी कि भव्य पंडाल भी छोटा पड़ता नजर आया।
सेक्टर-18 में मंगलवार को शुरू हुई भव्य श्री आरती शिव महापुराण कथा को सुनने के लिए देशभर से बड़ी संख्या में लोग जुटे। श्रद्धालुओं की भीड़ इतनी थी कि भव्य पंडाल भी छोटा पड़ता नजर आया।
कथा वाचक पंडित प्रदीप मिश्रा Pandit Pradeep Mishra ने व्यासपीठ से पहले दिन श्रद्धालुओं को ऐसे लोगों के झांसे में न आने की बात कही, जो उन्हें व्यर्थ के कामों को करने की सलाह देते हैं। उन्होंने कहा कि जिस तरह व्यर्थ का खर्च करने से जीवन बहुत अच्छा नहीं हो सकता है।
स्वयं पर खर्च करें, विलासिता पर नहीं: अगर आवश्यकता से कुछ धन बचे तो अपने जीवन को बेहतर बनाने में खर्च करो। स्वयं पर खर्च करने का मतलब महंगे कपड़े, सिनेमा और बड़ी गाड़ियों में घूमना नहीं है। स्वयं पर खर्च करने का मतलब किसी तीर्थ या कथा में जाकर भगवान की भक्ति को धारण करने से ह
Pandit Pradeep Mishra शिव पुराण कहता है कि व्यर्थ की चर्चा भी नहीं करनी चाहिए, इससे भी जीवन अच्छा नहीं हो सकता है। जीवन में आपको बहुत सारे लोग ऐसे मिलेंगे जो कहेंगे कि अपनी हेयर स्टाइल ऐसी कर लो, कभी कहेंगे ये वाला पार्लर अच्छा यहां चले जाओ, कभी कहेंगे ये जगह अच्छी यहां चले जाओ, कभी वहां चले जाओ पर आपको व्यर्थ का खर्च नहीं करना है।
पंडाल पडा छोटा: श्रद्धालुओं ने पंडाल के बाहर धूप में छाता और चादर के नीचे भगवान की कथा सुनी। शिव महापुराण कथा को सुनने के लिए देशभर से बड़ी संख्या में लोग जुटे। श्रद्धालुओं की भीड़ इतनी थी कि भव्य पंडाल भी छोटा पड़ता नजर आया।
कथा संयोजन भाजपा नेता एवं समाजसेवी सुनील मूसेपुर ने व्यवस्थाओं में सहयोग के लिए सभी का आभार जताया