Haryana News: रेवाड़ी। लंबे समय से प्रतीक्षित नियुक्ति के बाद रेवाड़ी जिले को नए डिप्टी डायरेक्टर एग्रीकल्चर मिल गए हैं। डॉ. बलवंत सिंह ने औपचारिक रूप से अपने पद का कार्यभार संभाल लिया है। पदभार ग्रहण करने के तुरंत बाद डॉ. सहरण ने क्षेत्र में कृषि गतिविधियों को नजदीक से समझने की दिशा में कदम बढ़ाते हुए धारूहेड़ा स्थित नैचुरल एग्रो फार्म का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने क्षेत्र में अपनाई जा रही प्राकृतिक खेती की पद्धतियों को देखा और किसानों व कृषि विशेषज्ञों के साथ विस्तार से चर्चा की।
मुख्य बिंदु
• रेवाड़ी को लंबे समय बाद मिला स्थायी डिप्टी डायरेक्टर एग्रीकल्चर
• डॉ. बलवंत सिंह सहरण ने संभाला पदभार
• धारूहेड़ा नैचुरल एग्रो फार्म का किया दौरा
• प्राकृतिक खेती को लेकर किसानों से की विशेष बातचीत
• कृषि व बागवानी में गहरी रुचि रखते हैं डॉ. सहरण
धारूहेड़ा नैचुरल एग्रो फार्म पहुंचकर डॉ. बलवंत सिंह सहरण ने प्राकृतिक खेती के विभिन्न पहलुओं पर चर्चा की। उन्होंने बताया कि रासायनिक उर्वरकों और कीटनाशकों के अत्यधिक उपयोग से मिट्टी की सेहत पर नकारात्मक असर पड़ रहा है, ऐसे में प्राकृतिक और जैविक खेती भविष्य की आवश्यकता बनती जा रही है।
उन्होंने किसानों को कम लागत में टिकाऊ खेती अपनाने के लिए प्रेरित किया और प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण पर भी जोर दिया।
डॉ. सहरण स्वयं खेती, बागवानी और प्राकृतिक कृषि में विशेष रुचि रखते हैं। यही कारण है कि पदभार संभालने के पहले ही दिन उन्होंने फील्ड में जाकर जमीनी हकीकत को समझने का प्रयास किया। उनका मानना है कि जब तक अधिकारी सीधे किसानों से संवाद नहीं करेंगे, तब तक योजनाओं का सही लाभ अंतिम व्यक्ति तक नहीं पहुंच सकता।
इस अवसर पर डॉ. अनिल लांबा, टीए डीडीए रेवाड़ी भी उनके साथ मौजूद रहे। उन्होंने भी प्राकृतिक खेती से जुड़े अपने अनुभव साझा किए और जिले में इस पद्धति को बढ़ावा देने के लिए विभागीय स्तर पर हर संभव सहयोग का भरोसा दिलाया।
कृषि विभाग से जुड़े लोगों और किसानों को उम्मीद है कि डॉ. बलवंत सिंह सहरण के नेतृत्व में रेवाड़ी जिले में कृषि विकास को नई दिशा मिलेगी।

















