Haryana News: हरियाणा सरकार ने बोर्ड परीक्षा के दौरान नकल और पेपर लीक के लगातार मामलों के सामने आने के बाद बड़ा कदम उठाया है। सरकार ने शिक्षा सचिव अनुराग रस्तोगी को उनके पद से हटा दिया है और उनकी जगह मुनीश नागपाल को शिक्षा बोर्ड का नया सचिव नियुक्त किया गया है।
मुनीश नागपाल बने शिक्षा बोर्ड के नए सचिव
हरियाणा सरकार ने अतिरिक्त उपायुक्त डॉ. मुनीश नागपाल को हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड का अतिरिक्त सचिव नियुक्त किया है। इससे पहले यह जिम्मेदारी जिला परिषद सीईओ एचसीएस अजय चोपड़ा के पास थी।
मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी ने सभी जिला उपायुक्तों और पुलिस अधीक्षकों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से परीक्षा में नकल रोकने के लिए रणनीति बनाई थी, लेकिन इसके ठीक अगले ही दिन सरकार ने शिक्षा सचिव को बदलने का निर्णय लिया। अब डॉ. मुनीश नागपाल पर यह बड़ी जिम्मेदारी होगी कि वे हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड की परीक्षाओं को नकलमुक्त और पेपर लीक से सुरक्षित बनाएं।
नकल रोकने के लिए सरकार सख्त
हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड, भिवानी की परीक्षाओं में पेपर लीक और नकल की घटनाओं को रोकने के लिए सरकार ने सख्ती बरतने के निर्देश दिए हैं। इन निर्देशों के बाद परीक्षा केंद्रों पर पुलिस प्रशासन पूरी तरह से सतर्क दिखाई दिया।
सोमवार को 10वीं कक्षा के अंग्रेजी पेपर के दौरान परीक्षा केंद्रों पर कड़े सुरक्षा इंतजाम किए गए।
परीक्षा केंद्रों पर कड़े नियम लागू
- आधार कार्ड अनिवार्य – परीक्षा केंद्रों में प्रवेश से पहले सभी परीक्षार्थियों की आधार कार्ड से पहचान की गई।
- अभिभावकों की एंट्री पर रोक – परीक्षा केंद्रों में माता-पिता और अन्य रिश्तेदारों का प्रवेश पूरी तरह से वर्जित कर दिया गया।
- पुलिस तैनात – परीक्षा के दौरान 12:30 बजे से 3:30 बजे तक किसी को भी परीक्षा केंद्र में प्रवेश की अनुमति नहीं दी गई।
DSP ने भी किया परीक्षा केंद्रों का निरीक्षण
परीक्षा केंद्रों की सुरक्षा को मजबूत बनाने के लिए डीएसपी, सभी थानों के एसएचओ और चौकी प्रभारी लगातार निगरानी कर रहे थे। इसके अलावा उड़न दस्तों (फ्लाइंग स्क्वॉड) को भी परीक्षा केंद्रों पर तैनात किया गया था।
- पुलिस ने हर परीक्षा केंद्र का निरीक्षण किया और यह सुनिश्चित किया कि नकल या पेपर लीक जैसी घटनाएं न हों।
- परीक्षा के दौरान मोबाइल फोन, स्मार्टवॉच, इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स आदि लाने पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया था।
छात्रों ने परीक्षा को लेकर क्या कहा?
परीक्षा देने के बाद जब छात्र परीक्षा केंद्रों से बाहर निकले, तो उन्होंने कहा कि प्रश्न पत्र सरल था और सभी प्रश्न सिलेबस के अंदर से ही पूछे गए थे।
छात्रों ने अच्छे परिणाम की उम्मीद जताई और कहा कि सरकार द्वारा उठाए गए कदम परीक्षा को निष्पक्ष और पारदर्शी बनाने के लिए आवश्यक हैं।
हरियाणा में परीक्षा में नकल के बढ़ते मामले
हरियाणा में बोर्ड परीक्षाओं के दौरान नकल और पेपर लीक की घटनाएं बढ़ती जा रही थीं, जिससे सरकार पर कड़ी कार्रवाई करने का दबाव बढ़ गया था।
पिछले कुछ वर्षों में हरियाणा बोर्ड की परीक्षाओं में धांधली की कई घटनाएं सामने आई हैं।
- पेपर लीक मामले – कई बार परीक्षा शुरू होने से पहले ही प्रश्न पत्र सोशल मीडिया पर लीक हो जाता था।
- संगठित नकल गिरोह सक्रिय – कुछ संगठित गिरोह परीक्षा केंद्रों में छात्रों को नकल कराने के लिए अवैध तरीके अपनाते थे।
- केंद्रों पर लापरवाही – कई परीक्षा केंद्रों में परीक्षा पर्यवेक्षकों की लापरवाही के कारण नकल को बढ़ावा मिलता था।
सरकार की नई रणनीति: परीक्षा प्रणाली में बदलाव
हरियाणा सरकार ने परीक्षा प्रणाली को निष्पक्ष बनाने के लिए कुछ कड़े कदम उठाने का निर्णय लिया है।
- ऑनलाइन पेपर वितरण – सरकार अब प्रश्न पत्रों को ऑनलाइन एन्क्रिप्टेड फॉर्मेट में परीक्षा केंद्रों तक भेजने पर विचार कर रही है, जिससे पेपर लीक की संभावना को समाप्त किया जा सके।
- सीसीटीवी निगरानी – सभी परीक्षा केंद्रों पर सीसीटीवी कैमरे लगाने की योजना बनाई जा रही है ताकि हर गतिविधि पर नजर रखी जा सके।
- बायोमेट्रिक उपस्थिति – परीक्षार्थियों की पहचान सत्यापित करने के लिए बायोमेट्रिक अटेंडेंस सिस्टम लागू किया जा सकता है।
- सख्त दंड – नकल करते पकड़े जाने वाले छात्रों और केंद्र प्रभारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
अभिभावकों और शिक्षकों की प्रतिक्रिया
हरियाणा सरकार की इस सख्ती को लेकर अभिभावकों और शिक्षकों की मिली-जुली प्रतिक्रियाएं सामने आई हैं।
- कुछ अभिभावकों का कहना है कि परीक्षा केंद्रों पर इतनी सख्ती से बच्चों पर मानसिक दबाव बढ़ सकता है।
- वहीं, शिक्षकों और शिक्षा विशेषज्ञों ने सरकार के इस कदम की सराहना की और कहा कि यह परीक्षाओं की विश्वसनीयता बढ़ाने में मदद करेगा।
हरियाणा में बोर्ड परीक्षाओं में नकल और पेपर लीक की घटनाओं पर रोक लगाने के लिए सरकार ने बड़ा प्रशासनिक फेरबदल किया है। अनुराग रस्तोगी को हटाकर मुनीश नागपाल को नया शिक्षा सचिव बनाया गया है, जिनकी सबसे बड़ी चुनौती परीक्षा प्रणाली को नकलमुक्त बनाना और पारदर्शिता सुनिश्चित करना होगा।
सरकार द्वारा उठाए गए कड़े कदमों का असर परीक्षा केंद्रों पर साफ दिखाई दे रहा है, जिससे परीक्षा की विश्वसनीयता बढ़ेगी और मेहनती छात्रों को न्याय मिलेगा। अब देखने वाली बात यह होगी कि क्या यह सख्ती आगे भी जारी रहेगी और परीक्षा प्रणाली में बदलाव कितने प्रभावी साबित होंगे।

















