सहकारिता मंत्री डा. बनवारी लाल ने गीता जयंती महोत्सव के सांस्कृतिक मंच से जिलावासियों को संबोधित करते हुए कहा कि गीता भारतीय संस्कृति की अनमोल धरोहर और मूल सार है, जो ज्ञान, धर्म और कर्म को प्रतिपादित करती है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल द्वारा गीता जयंती महोत्सव को कुरूक्षेत्र के साथ-साथ सभी जिलों में मनाने का निर्णय सराहनीय रहा है।CM Haryana ने गुरूग्राम का किया औचक निरीक्षण, सफाई व्यवस्था की खुली पोल
गीता ज्ञान को धारण करने और अपने जीवन में आत्मसात करने के लिए नागरिकों को आगे आना चाहिए तभी भारत एक बार फिर से विश्व में ज्ञान गुरू की उपाधि प्राप्त करेगा। उन्होंने कहा कि श्रीमद्भागवत गीता में संसार की सभी समस्याओं का समाधान है। गीता को जितनी बार पढ़ा जाए, हर बार जीवन को समझने का नया संदेश अलग तरीके से सामने आता है।
गीता व्यक्तिगत विकास और मोह, लालच से निकलने का सशक्त साधन है। उन्होंने कहा कि गीता जयंती महोत्सव का आयोजन मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल की आध्यात्मिक मूल्यों से समृद्ध सोच का परिचायक है। उन्होंने कहा कि संत-महात्माओं ने सदैव समाज को राह दिखाने का कार्य किया है।
मेरा विश्वास है कि इस प्रकार के कार्यक्रम से गीता के उपदेश व उसके ज्ञान को जन-जन तक पहुंचाने के साथ-साथ विश्व में गीता को पुर्नस्थापित करने का काम होगा। उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव से आज देश-विदेश में गीता का सार्थक संदेश पहुंच रहा है।