हरियाणा: सुनील चौहान। नारनौल में एक क्लर्क रिश्वत लेते हुए विजिलेंस की टीम के हत्थे चढ़ा है। विजिलेंस टीम ने उसे 2 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों काबू किया है। क्लर्क ने सड़क हादसे में डैमेज हो चुकी एक गाड़ी की रजिस्ट्रेशन सटिफिकेट रद्द करने की एवज में 3 हजार रुपए मांगे थे। एक हजार रुपए वह पहले ही ले चुका था। शुक्रवार को उसने दो हजार रुपए और रूपए लेते ही विजिलेंस टीम ने उसे दबोच लिया।
नारनौल के गांव पटीकरा निवासी संदीप ने शुक्रवार सुबह नारनौल विजिलेंस को शिकायत दी थी कि एसडीएम कार्यालय में कार्यरत क्लर्क बलजीत सिंह ने उसकी गाड़ी की आरसी को रद्द करने की एवज में रिश्वत मांगी हैं। 1 हजार रुपए रिश्वत के वह पहले दे चुका है। दो हजार रुपए अभी देने हैं। विजिलेंस टीम ने संदीप की शिकायत पर कार्रवाई करते हुए जाल बिछाया और आरोपी क्लर्क को दो हजार रुपए लेते हुए रंगे हाथों पकड़कर गिरफ्तार कर लिया।
क्या था मामला: विजिलेंस इंचार्ज नवल किशोर शर्मा ने बताया कि जून महीने में संदीप की गाड़ी सड़क हादसे में लगभग खत्म हो गई थी। टोटल लॉस होने के कारण उसने क्लेम के लिए अप्लाई किया था। इसके लिए उसे अपनी गाड़ी का रजिस्ट्रेशन रद्द करना था। 6 सितंबर को उसने एसडीएम के दफ्तर में आरसी रद्द होने की फाइल जमा कराई थी। इसके साथ ही आरोपी क्लर्क ने 3 हजार रुपए की रिश्वत मांगी थी। उसने एक हजार रुपए तो पहले ही दे दिए थे, जबकि 2 हजार रुपए देने थे। इसी बीच संदीप ने क्लर्क की शिकायत विजिलेंस को कर दी। विजिलेंस टीम ने उसे रंगे हाथों धर दबोचा हैं।