हरियाणा: हरियाणा में शिक्षा सबसे अहम मुद्दा बना हुआ है। शिक्षकों की कमी और स्कूलों के विलय को लेकर माहौल गरमा गया है। सरकार के प्रति गुस्सा भी दिख रहा है। चुनावी साल से पहले सत्ताधारी BJP-JJP गठबंधन सरकार शिक्षा विभाग में रिक्त पदों पर नियुक्तियों को लेकर गंभीर होने लगी है।
बरोजगार नोजवानो के लिए खुशी की खबर है। लंबे समय से टीचरो की भर्ती का इंतजार कर रहे युवाओ शिक्षक भर्ती की जानकारी मिलते ही खुशी जाहिर की है। हरियाणा सरकार स्कूलों में खाली पदों पर शिक्षकों की भर्ती करने जा रही है।
इतने शिक्षक होगे भर्ती: 11,500 शिक्षकों की भर्ती पक्की है जबकि 8,500 संविदा पर होंगे। हरियाणा कौशल रोजगार निगम के माध्यम से संविदा शिक्षकों की भर्ती शुरू कर दी गई है. कॉलेजों में 4,000 प्रोफेसरों की भर्ती की जाएगी।

प्रदेश के शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुर्जर ने बताया कि 24 हजार शिक्षकों की भर्ती की जाएगी। वहीं, स्कूलों के मर्जर को लेकर उनका मानना है कि इस मामले में राजनीति ज्यादा हुई थी, मर्जर तार्किक था।
उनका फोकस है कि राज्य में राष्ट्रीय शिक्षा नीति को अच्छे से लागू किया जाए. अगर सरकार छठी कक्षा से वोकेशनल कोर्स शुरू करने जैसा कदम उठाएगी तो राज्य में शिक्षा का परिदृश्य बदल जाएगा।
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शिक्षा मंत्री ने कहा कि एक परिसर में तीन से चार विद्यालयों के प्रधान चल रहे थे। उन सभी विद्यालयों को एक साथ लाकर एक प्रधान बनाया गया है। राज्य में कोई स्कूल बंद नहीं हुआ। विगत वर्षों में वे विद्यालय बंद हो चुके हैं, जिनमें बच्चे नहीं थे। बच्चों की संख्या बढ़ने पर सरकार ने कई स्कूलों को फिर से खोल दिया है।
आने वाले दिनों में शिक्षकों की कमी बिल्कुल नहीं होगी। साथ ही, डेढ़ लाख बच्चों को व्यावसायिक शिक्षा दी जा रही है। 46 हजार को 39 हजार रुपए की किट दी गई है। वे स्कूल से अच्छी तरह वाकिफ होंगे। नए शैक्षणिक सत्र से प्रदेश के 40 स्कूलों में छठी कक्षा से ही व्यावसायिक शिक्षा शुरू होने जा रही है।
प्रदेश के शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुर्जर पर आने वाले साल में बेहतर प्रदर्शन करने का दबाव है लेकिन उन्हें भरोसा है कि वह बेहतर परिणाम देंगे। आने वाले वर्ष में कॉलेजों और स्कूलों में शिक्षकों की कमी को दूर किया जाएगा।

















