CIBIL स्कोर को लेकर RBI ने दिया अपडेट, यहां जाने सारे सवालों के जबाव

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने CIBIL स्कोर से संबंधित कुछ नए नियम लागू किए
Haryana News: RBI ने बदला नियम,

 CIBIL : क्रेडिट कार्ड धारकों के लिए एक बड़ा अपडेट सामने आया है। यदि आपका CIBIL स्कोर लगातार घट रहा है, तो इसके पीछे कई कारण हो सकते हैं। यदि आपने भी यह सुना है कि CIBIL स्कोर बार-बार चेक करने से घटता है, तो यह सच हो सकता है।

 

दरअसल, CIBIL स्कोर में कमी आने के कई कारण हो सकते हैं, और इनमें से एक कारण बार-बार स्कोर चेक करने का भी हो सकता है। इस आर्टिकल में हम आपको बताएंगे कि बार-बार CIBIL स्कोर चेक करने से क्या असर पड़ सकता है और इसके अलावा और कौन-कौन से कारण होते हैं जिनसे स्कोर घट सकता है।

CIBIL स्कोर क्या है?

CIBIL स्कोर एक तीन अंकों का नंबर होता है, जो आपके क्रेडिट इतिहास और क्रेडिट योग्यता को दर्शाता है। यह स्कोर 300 से लेकर 900 तक हो सकता है, और 750 या उससे अधिक का स्कोर अच्छा माना जाता है। CIBIL स्कोर जितना अधिक होगा, आपके लिए लोन या क्रेडिट कार्ड की स्वीकृति मिलना उतना ही आसान होगा।

CIBIL स्कोर की जांच के प्रकार: हार्ड इन्क्वायरी और सॉफ्ट इन्क्वायरी

CIBIL स्कोर को दो प्रकार से चेक किया जा सकता है, जिन्हें हार्ड इन्क्वायरी और सॉफ्ट इन्क्वायरी कहा जाता है।

  1. सॉफ्ट इन्क्वायरी (Soft Inquiry):
    जब आप अपनी CIBIL स्कोर को खुद चेक करते हैं, तो इसे सॉफ्ट इन्क्वायरी कहा जाता है। सॉफ्ट इन्क्वायरी आपके स्कोर को प्रभावित नहीं करती है। उदाहरण के लिए, जब आप अपनी स्कोर की जानकारी के लिए वेबसाइट पर जाते हैं और चेक करते हैं, तो यह एक सॉफ्ट इन्क्वायरी होगी।
  2. हार्ड इन्क्वायरी (Hard Inquiry):
    जब कोई बैंक या वित्तीय संस्थान आपके क्रेडिट इतिहास की जांच करता है, तो इसे हार्ड इन्क्वायरी कहा जाता है। हार्ड इन्क्वायरी आपके स्कोर पर असर डाल सकती है और इसे कुछ अंकों से घटा सकती है।
आरबीआई का नया नियम और इसका असर

हाल ही में, भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने CIBIL स्कोर से संबंधित कुछ नए नियम लागू किए हैं। इन नियमों के अनुसार, अब ग्राहकों के CIBIL स्कोर को हर 15 दिन में अपडेट किया जाएगा। यह नियम 1 जनवरी 2025 से प्रभावी होगा। इसके अंतर्गत, बैंक और वित्तीय संस्थान अब तेजी से CIBIL स्कोर को अपडेट करेंगे। इसका मतलब यह है कि अब CIBIL स्कोर को हर महीने की 15 तारीख को और महीने के अंत में अपडेट किया जा सकता है।

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CIBIL स्कोर में कमी के मुख्य कारण
  1. समय पर लोन की किश्तें न चुकाना:
    लोन या क्रेडिट कार्ड की किश्तें समय पर न चुकाने से सबसे अधिक प्रभाव पड़ता है। यह सबसे बड़ा कारण है जिससे CIBIL स्कोर में कमी आ सकती है।
  2. क्रेडिट उपयोगिता अनुपात (Credit Utilization Ratio):
    यदि आप अपने क्रेडिट कार्ड के उपयोग का अनुपात अधिक रखते हैं, तो इससे आपका स्कोर प्रभावित हो सकता है। इस अनुपात को कम रखने से आपका स्कोर बेहतर रहेगा।
  3. बार-बार लोन के लिए आवेदन करना:
    यदि आप लगातार लोन या क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदन करते रहते हैं, तो आपके क्रेडिट इतिहास में बार-बार हार्ड इन्क्वायरी होगी, जो स्कोर को प्रभावित कर सकती है।
  4. लोन सुलह (Loan Settlement):
    यदि आप अपने लोन को सुलह करते हैं, तो भी इसका असर आपके CIBIL स्कोर पर पड़ सकता है।
  5. क्रेडिट कार्ड बिलों का समय पर भुगतान न करना:
    क्रेडिट कार्ड का भुगतान समय पर न करना भी आपके स्कोर को घटा सकता है।
  6. लोन गारंटर बनना:
    यदि आप किसी और का लोन गारंटर बनते हैं और वह व्यक्ति समय पर अपना लोन चुकता नहीं करता है, तो इसका भी असर आपके CIBIL स्कोर पर पड़ सकता है।
CIBIL स्कोर को सुधारने के उपाय
  1. लोन और क्रेडिट कार्ड की किश्तें समय पर चुकाएं:
    CIBIL स्कोर को सुधारने का सबसे प्रभावी तरीका है कि आप हमेशा अपने लोन और क्रेडिट कार्ड की किश्तें समय पर चुकाएं।
  2. बार-बार लोन के लिए आवेदन करने से बचें:
    लोन या क्रेडिट कार्ड के लिए बार-बार आवेदन न करें। इससे आपके स्कोर पर निगेटिव असर पड़ सकता है।
  3. CIBIL स्कोर की नियमित निगरानी रखें:
    अपनी CIBIL स्कोर की नियमित निगरानी रखें। लेकिन इसके लिए केवल आधिकारिक CIBIL वेबसाइट या आरबीआई द्वारा मान्यता प्राप्त संस्थान का ही उपयोग करें।
  4. क्रेडिट उपयोगिता अनुपात पर ध्यान दें:
    अपने क्रेडिट कार्ड का उपयोग उचित मात्रा में ही करें। क्रेडिट लिमिट के अधिकतम 30-40% तक का ही उपयोग करें।

CIBIL स्कोर आपके वित्तीय स्वास्थ्य को दर्शाता है और यह आपके लोन या क्रेडिट कार्ड की स्वीकृति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। आरबीआई द्वारा लागू किए गए नए नियमों के कारण अब CIBIL स्कोर को जल्दी अपडेट किया जाएगा, लेकिन इसके साथ ही यदि आप बार-बार स्कोर चेक करते हैं, तो यह आपके स्कोर को प्रभावित कर सकता है।

इसलिए, बेहतर यही होगा कि आप अपनी CIBIL स्कोर की नियमित निगरानी रखें और समय पर अपने लोन और क्रेडिट कार्ड बिलों का भुगतान करें ताकि आपका CIBIL स्कोर बेहतर रहे और आपके लिए भविष्य में लोन या क्रेडिट कार्ड प्राप्त करना आसान हो।