Haryana: हरियाणा में लगातार हो रही बारिश और जलभराव के कारण फसलें बर्बाद हो गई हैं। किसानों को अब तक मुआवजा नहीं मिला है और सरकार द्वारा गिरदावरी भी नहीं करवाई गई। इसी के विरोध में इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) ने सोमवार को प्रदेशभर में जोरदार प्रदर्शन किया। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी अभय सिंह चौटाला के नेतृत्व में रोहतक में बड़ा प्रदर्शन हुआ, जबकि जींद और कैथल में इनेलो के प्रदेश अध्यक्ष रामपाल माजरा ने प्रदर्शन का नेतृत्व किया। इनेलो ने राज्य के 22 जिलों में प्रदर्शन कर उपायुक्तों को ज्ञापन सौंपे।
जींद में प्रदर्शन के दौरान रामपाल माजरा ने कहा कि नवंबर में हरियाणा की राजनीति में बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा। उन्होंने दावा किया कि भाजपा और कांग्रेस से कई बड़े नेता इनेलो में शामिल होंगे। माजरा ने कहा कि यह प्रदर्शन किसानों की पीड़ा सरकार तक पहुंचाने के लिए किया गया है और यदि सरकार ने ध्यान नहीं दिया तो इनेलो बड़ा आंदोलन छेड़ेगी। उन्होंने पूर्व गृहमंत्री संपत सिंह के बारे में कहा कि वह पार्टी के वरिष्ठ नेता हैं और उनके किसी भी निर्णय का पार्टी स्वागत करेगी।
फसल खराबी और मुआवजे को लेकर सरकार पर निशाना
इनेलो नेताओं ने कहा कि भारी बारिश और बाढ़ से किसानों को भारी नुकसान हुआ है, लेकिन सरकार ने अभी तक कोई राहत राशि या मुआवजा नहीं दिया। लगभग 50 हजार एकड़ कृषि भूमि पर अभी भी पानी भरा हुआ है, जिससे रबी की फसल की बिजाई खतरे में है। इनेलो ने मांग की कि किसानों को कम से कम 50,000 रुपये प्रति एकड़ मुआवजा दिया जाए ताकि वे अगली फसल की तैयारी कर सकें। पार्टी ने कहा कि जब तक पानी की निकासी नहीं होती, खेती संभव नहीं है और सरकार को तत्काल कदम उठाने चाहिए।
MSP और भावांतर योजना में गड़बड़ियों पर भी जताया विरोध
इनेलो नेताओं ने कहा कि सरकार किसानों को धान, बाजरा और कपास जैसी फसलों पर उचित MSP नहीं दे रही है। धान में नमी के नाम पर 300-400 रुपये प्रति क्विंटल कटौती की जा रही है। बाजरे में 700-800 रुपये का अंतर भावांतर योजना में दिखाया जा रहा है, जबकि किसानों को केवल 600 रुपये प्रति क्विंटल का भुगतान किया जा रहा है। कपास की खरीद में भी गुणवत्ता के नाम पर कटौती हो रही है। इनेलो ने चेतावनी दी कि यदि किसानों को उचित मुआवजा और MSP नहीं मिला तो राज्यव्यापी आंदोलन शुरू किया जाएगा।
















