New Expressway: राजस्थान वासियों के लिए बड़ी खुशखबरी आई है। भारत सरकार की महत्वाकांक्षी योजना भारतमाला परियोजना के तहत अब राजस्थान के चूरू जिले को भी बड़ी सौगात मिलने जा रही है। इस योजना के तहत बन रहे अमृतसर-जामनगर एक्सप्रेसवे को अब चूरू से जोड़ने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। यह एक्सप्रेसवे पहले से ही राजस्थान के हनुमानगढ़, बीकानेर, जोधपुर, बाड़मेर और जालौर जिलों से होकर गुजर रहा है। अब चूरू को शामिल कर इसे और अधिक मजबूत और व्यापक बनाया जा रहा है।
लंबाई और राज्यों को जोड़ने का दायरा
अमृतसर-जामनगर एक्सप्रेसवे की कुल लंबाई करीब 917 किलोमीटर है और यह सिक्स लेन यानी छह लेन वाला हाई स्पीड मार्ग है। यह सड़क हरियाणा, पंजाब, राजस्थान और गुजरात जैसे बड़े राज्यों को आपस में जोड़ेगा। इसका निर्माण कार्य जोरों पर चल रहा है और 2025 के अंत तक इसे पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। इस एक्सप्रेसवे के तैयार हो जाने से न केवल राज्यों की दूरी घटेगी। बल्कि विकास की रफ्तार भी बढ़ेगी।
क्या है खास फायदा?
चूरू को इस एक्सप्रेसवे से जोड़ने का सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि यह जिला सीधे देश के दूसरे हिस्सों से जुड़ जाएगा। खासकर व्यापार, परिवहन और पर्यटन के नजरिए से चूरू को बड़ा लाभ मिलेगा।
चूरू को राजस्थान का “मरुस्थल का प्रवेश द्वार” माना जाता है। यहां से रेगिस्तानी इलाके शुरू होते हैं। ऐसे में इस जिले का संपर्क बढ़ना पूरे थली अंचल के लिए विकास का संकेत है।
मिलेगा नया पंख
चूरू जिला कृषि उत्पादों, पशुपालन और हस्तशिल्प के लिए जाना जाता है। लेकिन अभी तक यहां से उत्पादों को देश के बड़े बाजारों तक पहुंचाने में समय और खर्च ज्यादा लगता था।
लॉजिस्टिक खर्च घटेगा, तेजी से माल भेजा जा सकेगा, नई ट्रांसपोर्ट कंपनियां निवेश करेंगी, स्थानीय कारोबारियों को देश के अन्य राज्यों से सीधा जुड़ाव मिलेगा। इससे चूरू का व्यापारिक नक्शा पूरी तरह बदल सकता है।
















