Agriculture News: हरियाणा के डबवाली क्षेत्र ने कृषि क्षेत्र में एक नया कीर्तिमान स्थापित करते हुए विशाल किसान मेले का सफल आयोजन किया। इस मेले में हरियाणा, पंजाब और राजस्थान के हजारों किसानों ने भाग लिया। आधुनिक खेती, नई तकनीक, बीज, उर्वरक और कृषि नवाचारों को लेकर आयोजित इस मेले को किसानों के लिए बेहद उपयोगी बताया जा रहा है।Agriculture News
कार्यक्रम के सफल आयोजन पर चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर प्रोफेसर बी आर कंबोज, किसान रत्न आशीष मेहता और प्रगतिशील किसान अजनीश कनेडी ने पूरे इलाके के किसानों और आयोजकों को बधाई दी।Agriculture News
तकनीकों की जानकारी दी: बता देंं कि मेले के दौरान किसानों को कपास, गेहूं, सरसों और अन्य फसलों से जुड़ी नई किस्मों और तकनीकों की जानकारी दी गई। वाइस चांसलर प्रोफेसर बी आर कंबोज ने किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि विश्वविद्यालय लगातार ऐसी किस्मों पर काम कर रहा है, जो कम लागत में अधिक उत्पादन देने में सक्षम हों। उन्होंने बताया कि आने वाले समय में किसानों को नया और उन्नत कॉटन बीटी बीज उपलब्ध कराया जाएगा, जिससे कपास की पैदावार और गुणवत्ता दोनों में सुधार होगा।Agriculture News
ऐतिहासिक पहल: किसान रत्न आशीष मेहता ने कहा कि डबवाली में आयोजित यह किसान मेला क्षेत्र के किसानों के लिए एक ऐतिहासिक पहल है। उन्होंने कहा कि इस तरह के आयोजनों से किसानों को सीधे वैज्ञानिकों और विशेषज्ञों से संवाद करने का मौका मिलता है, जिससे वे खेती में नई तकनीकों को अपनाने के लिए प्रेरित होते हैं। उन्होंने आयोजकों की सराहना करते हुए कहा कि किसान हित में ऐसे प्रयास लगातार जारी रहने चाहिए।Agriculture News
नई सोच और आधुनिक खेती का संगम: प्रगतिशील किसान अजनीश कनेडी ने कहा कि मेले में किसानों की भारी भागीदारी यह दर्शाती है कि किसान नई सोच और आधुनिक खेती की ओर तेजी से बढ़ रहे हैं। उन्होंने बताया कि कपास की फसल को लेकर किसान लंबे समय से बेहतर बीज की मांग कर रहे थे और जल्द नया कॉटन बीटी बीज आने की जानकारी किसानों के लिए राहत भरी है।Agriculture News
प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण पर जोर : इस मेले में कृषि यंत्रों की प्रदर्शनी, मृदा परीक्षण, जैविक खेती, जल संरक्षण और फसल सुरक्षा से जुड़े सत्र भी आयोजित किए गए। विशेषज्ञों ने किसानों को संतुलित उर्वरक उपयोग, कीटनाशकों के सीमित प्रयोग और प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण पर विशेष जोर दिया।Agriculture News

















